राजनांदगांव। छत्तीसगढ़ से सटे महाराष्ट्र में हुए विधानसभा चुनावो के निर्णय ने यह बता दिया कि कोई भी राजनैतिक पार्टी हो वह अगर अपनी विचारधारा को ही छोड़ दे तो उसका अंत निःचित है पिछले विधानसभा में आम जनता ने भाजपा शिवसेना को जनादेश दिया परंतु सिर्फ सत्ता के स्वार्थ के चलते गठबंधन धर्म न निभाते हुए शिवसेना अपने ही मूल सिद्धांतों को छोड़ काग्रेस के साथ सरकार बना लिया जिस शिवसेना के संस्थापक बाला साहेब के विचारों को आगे बढ़ाने का कार्य करना था उस शिवसेना ने न सिर्फ अपने सिद्धातों से न सिर्फ समझौता किया बल्कि अपने मूल को छोड़ सत्ता प्राप्त करने अपने ही लोगो को गुमराह कर सत्ता प्राप्त की जिससे महाराष्ट्र की राजनीतिक गतिविधियों से आम जनता कार्यकर्ताओं में यहाँ तक कि भारतीय जनता पार्टी जैसे बड़े भाई के साथ विश्वासघात से सभी को गहरा आघात पहुँचा लोकसभा में आप जनता को गुमराह कर सिर्फ झुठ के नाम पर भारतीय जनता पार्टी को आरक्षण के नाम पर संविधान के नाम पर बदनाम करने का प्रयास किया पर जनता का दरबार में जब जनता को निर्णय करना होता है तब वहां कोई झूट फरेब नही चलता क्योंकि कोई भी गलत बात एक सीमा तक कि जा सकती है बार लोगो को बांटने की झूट बोलकर वोट लेने की राजनीती से जनता त्रस्त आ चुकी थी क्योंकि अब बात महाराष्ट्र के स्वाभिमान का था महाराष्ट्र की अस्मिता का था और फिर आम जनता ने देश के प्रधानमंत्री श्री नरेन्द्र मोदी और महायुति के विचारों में महाराष्ट्र के हित को जाना और हर बात के समझौते वाली सरकार को नकारते हुए महाराष्ट्र के विचारों वाली महायुति और भारतीय जनता पार्टी के नेतृत्व को ऐतिहासिक जीत दिलाकर राजनैतिक पार्टियों को बता दिया कि राजनैतिक पार्टी किसी एक परिवार की नही बल्कि विचारों को आगे बढ़ाने वाले कार्यकर्ताओं की होती है और जो राज्य के लोगो के वैवचारिक बातों को महत्व देगा आम जनता उसके साथ रहेगी डोंगरगढ़ शहर भाजपा के पूर्व महामंत्री पूर्व जिला संयोजक विवेक मोनू भंडारी ने महाराष्ट्र में भारतीय जनता पार्टी गठबंधन की सरकार लाने के लिए महाराष्ट्र की जनता को असीम बधाई शुभकामनाएं दी और आशा व्यक्त की डोंगरगढ़ सीमा से लगे महाराष्ट्र की प्राकृतिक वैभवता में अब और अधिक आकर्षक बनाया जाएगा ताकि आने वाले समय मे यहां पर्यटकों की संख्या में इजाफा हो और दोनों ही राज्यो की सीमाओं से लगे लोगो को पर्यटकों के माध्यम से रोजगार मिल सके।